श्लोक - ११८३
वैवर्ण्य कामरोगं च दत्वा मह्यं स नायक: ।
मत्त: सौन्दर्यलज्जे तु प्रत्यगृह्णान्मुदान्वित: ॥
Tamil Transliteration
Saayalum Naanum Avarkontaar Kaimmaaraa
Noyum Pasalaiyum Thandhu.
Section | भाग–३: काम-काण्ड |
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Chapter Group | अध्याय 121 to 133 |
chapter | वैवर्ण्यमूलकव्यसनम् |