श्लोक - २५४
अहिंसैव दया प्रोक्ता हिंसेयमदया मता।
प्राणिभांसाशनं लोके पापमाख्यायते॥
Tamil Transliteration
Arulalladhu Yaadhenin Kollaamai Koral
Porulalladhu Avvoon Thinal.
Section | भाग–१: धर्मकाण्ड |
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Chapter Group | अधिकार 021 to 030 |
chapter | मांसवर्जनम् |