श्लोक - ८२९
भूत्वा बहि: स्निग्धसमो दूषयेद् हृदयेन् य: ।
तमेव मार्गमाश्रित्य तस्य मैत्रीं विनाशय ॥
Tamil Transliteration
Mikachcheydhu Thammellu Vaarai Nakachcheydhu
Natpinul Saappullar Paatru.
Section | भाग–२: अर्थ-काण्ड |
---|---|
Chapter Group | अध्याय 91 to 100 |
chapter | आन्तरस्नेहशून्यता |