श्लोक - २४४
रक्षणात् सर्वजन्तूनां दयायाश्च प्रदर्शनात्।
नरो न लभते नूनं दुष्कर्म नरकप्रदम्॥
Tamil Transliteration
Mannuyir Ompi Arulaalvaarkku Illenpa
Thannuyir Anjum Vinai.
Section | भाग–१: धर्मकाण्ड |
---|---|
Chapter Group | अधिकार 021 to 030 |
chapter | दया |
रक्षणात् सर्वजन्तूनां दयायाश्च प्रदर्शनात्।
नरो न लभते नूनं दुष्कर्म नरकप्रदम्॥
Tamil Transliteration
Mannuyir Ompi Arulaalvaarkku Illenpa
Thannuyir Anjum Vinai.
Section | भाग–१: धर्मकाण्ड |
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Chapter Group | अधिकार 021 to 030 |
chapter | दया |