श्लोक - २८६

श्लोक 286
श्लोक #२८६
चौर्य-कर्म प्रति हैं जिन्हें, रहती अति आसक्ति ।
मर्यादा पर टिक उन्हें, चलने को नहिं शक्ति ॥

Tamil Transliteration
Alavinkan Nindrozhukal Aatraar Kalavinkan
Kandriya Kaadha Lavar.

Sectionधर्म- कांड
Chapter Groupअध्याय 021 to 030
chapterअस्तेय